पांडु ग्रामीण पेयजलापूर्ति योजना के शुरू होने की जगी उम्मीद,बांकी नदी में पांच करोड़ की लागत से बनेगा बीयर,डीपीआर तैयार
झारखंड न्यूज 24
विश्रामपुर
चार दशक से जलस्तर की कमी के कारण बंद पड़ी पांडू ग्रामीण पेयजलापूर्ति योजना के चालू होने की उम्मीद फिर से जगी है। इसके लिये बांकी नदी में पांच करोड़ की लागत से बीयर बनेगा। जिसका डीपीआर बनाकर तकनीकी स्वीकृति के लिये रांची पेयजल एवं स्वच्छता विभाग को भेज दिया गया है। मालूम हो कि पांडु ग्रामीण पेयजलापूर्ति योजना का निर्माण 40 वर्ष पूर्व हुआ था। लेकिन अनुपयोगी जगह पर इंटेकवेल बनने से पानी की आपूर्ति शुरू नहीं हो पायी। पेयजल स्वच्छता विभाग के मुख्य अभियंता मो रियाज आलम ने बताया कि बीयर एक्सपर्ट प्रमोद कुमार गिरि के द्वारा अनुमोदन किये जाने के बाद पांच करोड़ की लागत से इसका डीपीआर तैयार कर लिया गया है। तकनीकी स्वीकृति की कार्रवाई भी प्रगति पर है।
बीयर निर्माण होने से नदी में सालोभर जलस्तर बरकरार रहेगा और इंटेकवेल को जलापूर्ति हेतु पर्याप्त पानी मिलता रहेगा। यहां उल्लेखनीय है कि इस मृतप्राय योजना को शुरू कराने के लिये खैरा विकास मंच के अध्यक्ष ललन प्रसाद पांडेय लंबे समय से आंदोलनरत थे। इसके लिये उन्होंने धरना प्रदर्शन से लेकर कई बार आमरण अनशन तक किया था। बरसात से पूर्व उन्होंने इस मुद्दे को लेकर पलामू उपयुक्त समीरा एस से मुलाकात कर योजना को चालू कराने की मांग रखी थी। श्री पांडेय ने योजना को पुनर्जीवित करने के लिये पलामू उपयुक्त समीरा एस व पेयजल स्वच्छता विभाग के अधिकारियों के प्रति आभार व्यक्त किया है।

